अंबिकापुर : छत्तीसगढ़ की सेंट्रल जेल में महिला कैदियों से अमानवीय व्यवहार का मामला सामने आया है। एक युवक ने बताया कि पिछले 6 माह से उसकी मौसी एक मामले में केंद्रीय जेल में बंद है। आरोप है कि जेल में महिला बंदियों के कपड़े उतरवाकर वीडियो बनवाए गए हैं। जेल में बंद महिला के परिजन ने इसकी शिकायत छत्तीसगढ़ महिला आयोग से की है। आरोप ये भी है कि प्रहरी और जेलर कैदियों से पैसे मांगती हैं। मामले में जेल प्रबंधन जांच की बात कह रहे हैं। हालांकि अब तक ये नहीं पता चल पाया है कि शिकायतकर्ता कौन है?
महिला आयोग को दिए गए शिकायत पत्र में बताया गया है कि आवेदक कि मौसी पिछले 6 माह से केन्द्रीय जेल अम्बिकापुर में बंद है। आवेदक और उसका पूरा परिवार जेल के नियमानुसार समय-समय पर अपनी मौसी से मिलने आते हैं। आवेदक की मौसी ने आवेदक के माता-पिता को जेल में मुलाकात के दौरान बताया कि जेल के दो महिला स्टाफ, एक महिला जेलर और एक महिला मुख्य प्रहरी को हर महीने समय-समय पर पैसा देना होगा, नहीं तो जेल में सजा काटनी मुश्किल हो जाएगी।
इतना ही नहीं अधिकारी और जेल प्रहरी महिला नंबरदारों से कैदियों के कपड़े उतरवाकर अमानवीय व्यवहार करती हैं। यही नहीं, महिला अधिकारी इसका अपने मोबाइल से वीडियो भी बनाती है। इसके बाद कहती है कि ये वीडियो उसके विपक्षियों को भेज देंगी।
युवक का दावा है कि मौसी ने बताया कि ऐसा उसके साथ न हो, इसलिए उन्हें भी हर महीने पैसे देने पड़ेंगे। तभी वो जेल में शांति से रह पाएगी और ठीक-ठाक खाना मिल पाएगा। शिकायत में युवक ने कहा है कि उसकी मौसी से जो गुनाह हुआ है उसकी सजा तो उसे मिलेगी। लेकिन जेल में महिला कैदियों से ऐसा कृत्य मानव अधिकार का उल्लंघन है। उसने मामले की जांच की मांग की है। युवक की शिकायत पर मामले की जांच की जा रही है। अधिकारियों का कहना है कि रिपोर्ट आने के बाद आगे की कार्रवाई की जाएगी।