दुर्ग : सालों से उपेक्षित रविशंकर स्टेडियम के दिन जल्द बहुरने वाले हैं। भारतीय क्रिकेट कंट्रोल बोर्ड (बीसीसीआई) ने स्टेडियम को संवार कर इंटरनेशनल स्टैंडर्ड पर विकसित करने पर सहमति दे दी है। इसके साथ ही जिला प्रशासन ने स्टेडियम की जमीन हस्तांतरण की प्रक्रिया शुरू कर दी है। इसके लिए विधायक गजेंद्र यादव और कलेक्टर अभिजीत सिंह ने संबंधित अफसरों के साथ स्थल निरीक्षण किया।
बीसीसीआई के प्रस्ताव पर जिला क्रीडांगण समिति ने स्टेडियम को 33 साल के लीज पर देने का निर्णय लिया है। लीज शर्त के मुताबिक बीसीसीआई स्टेडियम को संवारने के साथ आसपास को खेलगांव की तरह विकसित करेगा। रविशंकर स्टेडियम का निर्माण वर्ष 1979 में स्थानीय खेल प्रतिभाओं को प्रोत्साहन के मकसद से कराया गया था। मध्यप्रदेश के दौर में स्टेडियम में रणजी ट्रॉफी और फुटबाल के ऑल इंडिया टूर्नामेंट कराए जा चुके हैं।
स्टेडियम में अंतरराष्ट्रीय स्तर पर नाम कमा चुके कई क्रिकेट खिलाड़ी खेल चुके हैं, बीसीसीआई ने स्टेट क्रिकेट एसोसिएशन के माध्यम से स्टेडियम को लीज पर दिए जाने पर अंतरराष्ट्रीय स्टैंडर्ड के अनुसार विकसित करने का प्रस्ताव भेजा था। लीज पर देने की सहमति के बाद जमीन का चिन्हांकन कराया गया।
जमीन का चिन्हांकन इस तरह किया गया
निर्माण के लिए स्टेडियम परिसर, मानस भवन व नगर चौपाटी के अलावा दादा दादी-नाना नानी पार्क, जठार क्लब और राजेन्द्र पार्क तक चारों ओर से सड़क से घिरे इलाके चिन्हित किया गया। इनसे लगे अधिकतर जगहों पर या तो अवैध कब्जा है या अनुपयोगी पड़े हैं।
बीसीसीआई से समन्वय कर रहे दुर्ग शहर विधायक गजेंद्र यादव ने बताया कि स्टेडियम के अलावा परिसर से सभी खेलों की सुविधाओं पर जोर दिया जा रहा है। बीसीसीआई कार्यालय, प्रवेश द्वार, हॉस्टल, प्रैक्टिस एरिया सहित अन्य निर्माण करेगा। इसके अलावा बास्केट बाल, बैडमिंटन व अन्य खेलों के लिए भी जगह निर्धारित किए जाएंगे।
राजधानी रायपुर के परसदा स्टेडियम में अंतरराष्ट्रीय व आईपीएल के मैच पहले से ही खेले जा रहे हैं। ऐसे में बड़े आयोजनों के लिए और भी स्टेडियमों और प्रेक्टिस विकेट की जरूरत होती हैै। रविशंकर स्टेडियम इसका बेहतर विकल्प बन सकता है।