मैनपुर : विकासखंड मुख्यालय मैनपुर राजापड़ाव क्षेत्र के केंद्र बिंदु माने जाने वाली ग्राम शोभा में आज 8 मई गुरुवार को तहसीलदार मैनपुर की मौजूदगी में शासकीय भूमि पर कब्जा कर अवैध तरीके से मकान बनाने वाले दो ग्रामीण के निर्माणाधीन मकान पर सुबह 10:00 के आसपास बुलडोजर चला कर कब्जा मुक्त कराया गया।वही एक ग्रामीण के बाड़ी को भी कब्जा मुक्त कराया ज्ञात हो,कि पक्की सड़क किनारे खाद्यान्न सोसायटी शोभा के समीप डिकेश पिता जनक जाति गोड़ द्वारा शासकीय भूमि खसरा नंबर 60 रकबा 2.90 हेक्टेयर के भाग 10 गुणा 12 मीटर पर अवैध तरीके से बेजा कब्जा कर मकान बनाया जा रहा था। जिसको न्यायालय तहसीलदार मैनपुर के द्वारा बेजा कब्जा हटाने आदेश उपरांत सात दिवस का समय सीमा दिये जाने के बाद भी कब्जा हटाने की कार्यवाही नहीं की गई। जिसके कारण आज तड़के सुबह 10:00 बजे के आसपास निर्माणाधीन मकान पर बुलडोजर चलाकर कब्जा मुक्त कराया गया।वही लंबित प्रकरण मे लाल सिंह मरकाम पिता अवध राम मरकाम जो शासकीय भूमि में कब्जा कर मकान बनाने के लिए फाउंडेशन तैयार किया था वहा भी बुलडोजर चला वही ग्राम शोभा के ही रामजी सेन पिता रोमनाथ सेन जो शासकीय भूमि पर कब्जा कर बाड़ी को तार से घेरा डाला था उसे भी कब्जा मुक्त कराया गया। लाल सिंह एवं रामजी सेन ने कहा कि आज तारीख मे हमें कोई लिखित में सूचनार्थ नहीं किया गया था।
हम लोग तो ग्राम सभा में समाधान के लिए आवेदन भी लगाए थे।दिलचस्प बात यह है कि डिकेश पिता जनक के पूर्वज शोभा गांँव को बसाया है। चाहते तो अपनों के लिए सब कुछ रख लेता लेकिन सेवा भावी दूसरों के लिए जीने वाले लोगों में शामिल डिकेश मरकाम के पूर्वज सबके लिए समांतर व्यवस्था किया और इनके बड़े बुजुर्ग आज भी दूसरों के लिए जीने वाले लोगों में से है। गांव के सभी वसींदों को भी इन्हीं के पूर्वजों ने बसाहट के लिए जगह दिया है। आज भी गांव के पटेल उन्हीं लोग हैं।डिकेश के बड़े पिताजी चंदन मरकाम ने कहा शिकवा शिकायत में ही अधिकारी बेजा कब्जा हटाने पहुंँचे हैं। पुरखौती से काबिज भूमि का कम पढ़े लिखे होने के कारण पट्टा नहीं बनवा पाए लेकिन कोई बात नहीं माननीय न्यायालय का निर्णय सर्वमान्य है पर हम समांतर नीति के तहत शासन प्रशासन को जितने भी शोभा में शासकीय भूमि पर अवैध कब्जा कर मकान बड़ी खेती बनाया गया है। सबका जांच पड़ताल कर बेदखली की कार्यवाही किया जाना चाहिए।
इस तरह के मामले राजस्व अमले के मैदानी कर्मचारी एवं ग्राम पंचायत की अनदेखी के चलते गांव-गांव में अतिक्रमण की बाढ़ आ गई है।हालात इतने खराब हैं कि ग्राम पंचायत में शासकीय भवनों तक के लिए खाली जमीन नहीं बची है। सड़क किनारे,बाजार स्थल, सहित चाक चौराहा भी इससे अछूता नहीं रहा गया है।अब देखना होगा यह कार्यवाही आगे और जारी रहेगा की इसके बाद मामला ठंडा बस्ता में चला जाएगा। अतिक्रमण हटाने के दौरान किसी भी प्रकार के विवाद की स्थिति ना हो इसलिए मौके पर तहसीलदार गेंदलाल साहू, लिपिक वर्ग 2 रजनीश रामटेके, हल्का पटवारी नीरज वर्मा,
सचिव निर्मल देशमुख, नगर सैनिक मनोहर यादव, राजेंद्र मेश्राम, कोटवार उमेश नागेश, गिरधर नागेश सहित महिला आरक्षक भी शामिल रहे।