भारत-पाकिस्तान के बीच बीते दिनों हुए सैन्य तनाव में दुनिया ने भारत के डिफेंस हथियारों की ताकत देखी थी. भारत की 15 ब्रह्मोस मिसाइलों ने पाकिस्तान में खूब तबाही मचाई थी और वहां के 11 एयरबेसों को ध्वस्त कर दिया था.
ब्रह्मोस मिसाइल पर रुचि दिखा रहे कई देश
बता दें कि भारत की ब्रह्मोस मिसाइल दुनिया की सबसे तेज सुपरसोनिक क्रूज मिसाइलों में से एक है. इसका निशाना भी एकदम सटीक लगता है. ब्रह्मोस मिसाइल अपने टारगेट को 1 मीटर के सर्कल में जाकर हिट करती है, जिससे इसका निशाना हमेशा अचूक रहता है. ब्रह्मोस के पाकिस्तानी इलाके में मिली सफलता के बाद से दुनिया के कई देश इसे खरीदने की डिमांड कर रहे हैं. कई मुस्लिम देशों ने भी इसपर इंटरेस्ट दिखाया है.
ब्रह्मोस बेचने के लिए भारत को चाहिए अनुमति?
बता दें कि भारत को ब्रह्मोस मिसाइल खरीदने के लिए रूस की अनुमति चाहिए होती है. ऐसा इसलिए क्योंकि ब्रह्मोस मिसाइस भारत-रूस का ज्वॉइंट वेंचर है. इस समझौते के तहत ब्रह्मोस एयरोस्पेस की स्थापना हुई थी, जो इसे मिसाइल के प्रोडक्शन पर काम करती है. रिपोर्ट्स की मानें तो ब्रह्मोस मिसाइल की तकनीक में रूस-भारत की 50-50 की साझेदारी है. ऐसे में भारत को अन्य देशों में यह मिसाइल बेचने के लिए रूस की सहमति लेनी होती है.
इन देशों ने ब्रह्मोस मिसाइल में दिखाई रुचि
बता दें कि फिलीपींस भारत से ब्रह्मोस मिसाइल खरीदने वाला सबसे पहला देश था. साल 2022 में फिलीपींस ने इसके लिए ब्रह्मोस एरोस्पेस प्राइवेट लिमिटेड के साथ 37.4 करोड़ डॉलर की डील की थी. इस साल अप्रैल में भारत ने फिलीपींस को ब्रह्मोस मिसाइल की दूसरी खेप डिलीवर की थी. इसके बाद भारत-वियतनाम ने भी ब्रह्मोस मिसाइल को लेकर डील किया था. बता दें कि अबतक इंडोनेशिया, चिली, अर्जेंटीना, थाईलैंड, सिंगापुर, संयुक्त अरब अमीरात, कतर, ओमान, ब्रुनेई, वेनेजुएला, मिस्र और सऊदी अरब ने भी ब्रह्मोस मिसाइल पर रुचि दिखाई है.